मिलावट की दवा बेचना

क्या मिलावट की दवा बेचना अपराध है ?

भारतीय दंड संहिता की धारा 274, 275 व  276 

दवा में मिलावट करना जिससे उस दवा का असर कम हो जाए या वह स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो जाए एक अपराध है। मिलावट करने वाला यह जानता है कि यह मिलावटी दवा किसी बीमार व्यक्ति को ही दी जाएगी या बेची जाएगी। कुछ लोग पैसा कमाने के उद्देश्य से नकली दवाएं बेचते हैं। यह एक अमानवीय अपराध है। क्योंकि एक बीमार व्यक्ति किसी दवा को असली समझकर खाता है परंतु उसको फायदा नहीं होता बल्कि उसका जीवन और कष्ट में हो जाता है। यहां तक कि उसकी जान भी जा सकती है।

एक दवा के स्थान पर दूसरी दवा देना

यदि जानबूझकर किसी विशेष दवा के स्थान पर कोई अन्य दवा यह कहकर बेची जाए या दी जाए कि यह वही विशेष दवा है तो इस प्रकार एक दवा के नाम पर दूसरी दवा बेचने वाला या दवा देने वाला व्यक्ति एक अपराधी है।

उदाहरण

1. मोहम्मद बुखार की एक दवा को पीसकर उसमें चौक का पाउडर मिलाता है और उसकी टेबलेट बनाकर असली दवा की तरह पैकिंग करता है। उन मिलावटी दवाओं को वह एक अस्पताल में भेजता है मोहम्मद ने मिलावटी दवा बनाने और बेचने का अपराध किया।

2. डॉक्टर ने महेश को एक विशेष दवा खाने के लिए कहा। महेश ने डिस्पेंसरी से वह दवा मांगी। डिस्पेंसरी मालिक ने कोई दूसरी दवा महेश को यह कह कर दिया की यह वही विशेष दवा है| डिस्पेंसरी मालिक ने गलत दवा देने का अपराध किया।

दंड का प्रावधान

एक अपराध का दंड 6 महीने का कारावास या ₹1000 तक का जुर्माना या दोनों है।

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