राष्ट्रीय युवा नीति

राष्ट्रीय युवा नीति

पहली राष्ट्रीय युवा नीति 1988 में निर्मित की गई तब से लेकर अब तक देश में सामाजिक एवं आर्थिक दशाएं एक महत्वपूर्ण परिवर्तन से गुजर चुकी है और उनको व्यापक तकनीकी उन्नति के द्वारा नया आकार दिया जा चुका है इसलिए 2003 में एक नई पुनरीक्षित युवा नीति तैयार की गई ताकि युवाओं को भूमंडलीकरण सदस्य को ध्यान में रखते हुए चुनौतियों के विरुद्ध खड़ा होने के लिए प्रेरित करना है 13 से 35 वर्ष के बीच इस नीति में युवाओं का चयन किया गया है इस नीति के उद्देश्य निम्नलिखित है

युवाओं को भारत के संविधान में निहित सिद्धांतों एवं मूल्यों के अनुपालन हेतु अभी प्रेरित करना

युवाओं के सभी वर्गों के बीच नागरिकता के गुणों का विकास करना और उनमें समुदाय सेवा के प्रति समर्पण का भाव पैदा करना

भारतीय इतिहास एवं विरासत कला एवं संस्कृति के चित्रों में युवाओं के बीच जागरूकता को बढ़ावा देना

युवाओं को समुचित शैक्षिक एवं प्रशिक्षण अवसर उपलब्ध कराना तथा रोजगार अवसरों एवं अन्य के संबंध में सूचना तक उनकी पहुंच को बढ़ावा देना


युवाओं के बीच स्वयंसेवी भावना को मजबूत बनाए रखना ताकि उनके व्यक्ति के चरित्र का निर्माण हो सके और विकासात्मक कार्यक्रमों के लक्ष्यों के प्रति प्रतिबद्धता का एक बौद्ध पैदा हो सके

विभिन्न सामाजिक आर्थिक एवं संस्कृति क्षेत्रों में युवा नेतृत्व का विकास करना तथा गैर सरकारी संगठनों सहकारी समितियों एवं युवाओं को अनौपचारिक समूह की भागीदारी को प्रोत्साहित करना

प्राकृतिक संसाधनों एवं पर्यावरण के संरक्षण एवं परिरक्षण में युवाओं के लिए प्रमुख भागीदारी भूमिका को प्रोत्साहित करना

यह नीति चार महत्वपूर्ण क्षेत्रों की पहचान करती है नंबर एक युवा सशक्तिकरण नंबर दो लैंगिक न्याय नंबर तीन अंतर क्षेत्रीय उपागम नंबर 4 सूचना एवं शोध नेटवर्क

राष्ट्रीय युवा नीति एक क्रियान्वयन कार्य तंत्र उपलब्ध कराती है जिसके माध्यम से युवाओं के लिए विभिन्न विकासात्मक कार्यक्रमों एवं गतिविधियों को चलाया जाएगा और राज्य सरकारों केंद्रीय मंत्रालय एवं विभागों की सक्रिय भागीदारी होगी


Comments

  1. Youth development ke liye quality education is most importent

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